November 23, 2024 3:45 PM

Krishna Janmashtami 2023: श्रीकृष्ण जन्माष्टमी पर करें विशेष उपाय

'ज्योतिर्विद डी डी शास्त्री'

Share on facebook
Share on twitter
Share on linkedin
Share on whatsapp
Share on telegram
Share on email
Share on print
Share on pinterest

जय श्रीकृष्णा…..भगवान विष्णु के आठवें मानवरूपी अवतार,श्रीकृष्ण के जन्म को प्राचीन काल से लेकर आज तक हर्षोल्लास से मनाया जाता है,कृष्ण जन्माष्टमी को कृष्णाष्टमी,गोकुलाष्टमी,कन्हैया अष्टमी,कन्हैया आठें,श्री कृषाण जयंती और श्रीजी जयंती नामों से भी जाना जाता है.हिन्दू शास्त्रों के अनुसार श्री कृष्ण ने अपना अवतार भाद्र माह की कृष्ण पक्ष की अष्टमी को मध्यरात्रि को अत्याचारी कंस का विनाश करने के लिए मथुरा में लिया था.यह त्योहार भारत के हर क्षेत्र में काफी धूमधाम से मनाया जाता है.भाद्र मास के कृष्ण पक्ष के अष्ठमी तिथि में भगवान का श्रीकृष्ण का जन्म हुआ था.श्रीकृष्ण जन्माष्टमी के शुभ अवसर पर निम्न विशेष उपाय करने से आप मनोवांछित सफलता प्राप्त कर सकते हैं..!
01.भगवान श्रीकृष्ण को पीतांबरधारी भी कहते हैं,जिसका अर्थ है पीले रंग के कपड़े पहनने वाला,इस दिन पीले रंग के कपड़े,पीले फल व पीला अनाज दान करने से मां लक्ष्मी की कृपा प्राप्त होती है..!
02.धनवान बनने के लिए जन्माष्टमी के दिन भगवान श्रीकृष्ण को सफेद मिठाई या खीर का भोग लगाएं,इसमें तुलसी के पत्ते अवश्य डालें,इससे भगवान श्रीकृष्ण जल्दी ही प्रसन्न हो जाते हैं…!
03.जन्माष्टमी की करीब 12 बजे भगवान श्रीकृष्ण का केसर मिश्रित दूध से अभिषेक करें तो जीवन में कभी धन की कमी नहीं आती,तिजोरी हमेशा पैसों से भरी रहती है..!
04.इस दिन भगवान श्रीकृष्ण की पूजा करते दक्षिणा में सिक्के अर्पण करें,पूजन के बाद यह दक्षिणा स्वरुप सिक्के को पीले कपडे में बांध कर अपने पर्स में रख लें,इससे आपकी जेब कभी खाली नहीं होगी..!
05.किसी कृष्ण मंदिर में जाकर तुलसी की माला से नीचे लिखे मंत्र की 11 माला जप करें.इसके बाद भगवान श्रीकृष्ण को पीला वस्त्र व तुलसी के पत्ते अर्पित करें..!
मंत्र- क्लीं कृष्णाय वासुदेवाय हरि:परमात्मने प्रणत:क्लेशनाशाय गोविंदाय नमो नम:।
06.इस दिन दक्षिणावर्ती शंख में जल भरकर भगवान श्रीकृष्ण का अभिषेक करें,इस उपाय से मां लक्ष्मी की कृपा बरसती है और साधक मालामाल हो जाता है…!
07.जन्माष्टमी को शाम के समय तुलसी को गाय के घी का दीपक लगाएं और ऊँ वासुदेवाय नम: मंत्र बोलते हुुए तुलसी की 11 परिक्रमा करें…!

नोट :- अपनी पत्रिका से सम्वन्धित विस्तृत जानकारी अथवा ज्योतिष, अंकज्योतिष,हस्तरेखा, वास्तु एवं याज्ञिक कर्म हेतु सम्पर्क करें.!

नोट :- ज्योतिष अंकज्योतिष वास्तु रत्न रुद्राक्ष एवं व्रत त्यौहार से सम्बंधित अधिक जानकारी ‘श्री वैदिक ज्योतिष एवं वास्तु सदन’ द्वारा समर्पितAstro Dev YouTube Channel & www.vaidicjyotish.com & Facebook Pages पर प्राप्त कर सकते हैं.II
Share on facebook
Share on twitter
Share on linkedin
Share on whatsapp
Share on telegram
Share on email
Share on print
Share on pinterest